छत्तीसगढ़रायपुर

प्रदेश में बिगड़ती कानून व्यवस्था के खिलाफ कांग्रेस का विरोध प्रदर्शन

विधानसभा घेराव में हजारों लोग हुए शामिल, सरकार पर लाठीचार्ज और वाटर कैनन के आरोप

       रायपुर। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने हाल ही में पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि पिछले पांच दिन राज्य की राजनीति और जनता के लिए महत्वपूर्ण रहे हैं। 22 जुलाई से शुरू हुआ राज्य विधानसभा का मानसून सत्र कल समाप्त हुआ। इस सत्र के दौरान कांग्रेस पार्टी ने राज्य की जनता के अधिकारों के लिए लड़ाई लड़ी, चाहे वह सदन में हो या सड़कों पर। राज्य की बिगड़ती कानून व्यवस्था, किसानों, आदिवासियों, मजदूरों, महिलाओं और युवाओं के अधिकारों के मुद्दों को कांग्रेस विधायकों ने उठाया और सरकार को आईना दिखाया।

       दीपक बैज ने कहा कि 24 जुलाई को कांग्रेस पार्टी ने विधानसभा का घेराव किया। राज्य में बिगड़ती कानून व्यवस्था, लूट, डकैती, बलात्कार और हत्याओं की घटनाओं ने प्रदेश में एक डर का माहौल बना दिया है। विधानसभा घेराव के बाद जनता में विश्वास पैदा हुआ कि उनके अधिकारों के लिए एक मजबूत विपक्ष है। बरसते पानी के बावजूद हजारों लोग घेराव में शामिल हुए। सरकार कांग्रेस के प्रदर्शन से इतनी घबराई हुई थी कि पूरी राजधानी को सील कर दिया गया।

       नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने पत्रकारवार्ता में कहा कि पांच दिनों में चार स्थगन प्रस्तावों पर चर्चा कराने को सरकार को बाध्य किया गया, जो कांग्रेस की बड़ी सफलता है। कानून व्यवस्था पर चर्चा की गई और जनता की समस्याओं को तथ्यपूर्ण तरीके से प्रस्तुत किया गया। बलौदाबाजार की घटना, जिसमें पूरा देश कलंकित हुआ, उसमें भी कांग्रेस ने सरकार को घेरा। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने किसानों की समस्याओं को प्रभावी ढंग से उठाया।

       पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज और नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत को बधाई दी और कहा कि ज्वलंत मुद्दों पर सदन के अंदर और बाहर जनता की लड़ाई लड़ी गई। बलौदाबाजार की घटना को आक्रामक तरीके से सदन में रखा गया और 24 जुलाई को विधानसभा घेराव कार्यक्रम हुआ। पुलिस ने दमन किया, लेकिन कांग्रेस के साथी पीछे नहीं हटे।

       भूपेश बघेल ने भाजपा की विष्णुदेव सरकार पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि राज्य में भ्रष्टाचार और कुशासन का दौर हावी है। विष्णुदेव सरकार के सात महीने के कार्यकाल में राज्य में कानून व्यवस्था बदहाल हो गई है। राजधानी में गोलीबारी की घटनाएं बढ़ गई हैं और अंतर्राज्यीय गैंगस्टर राज्य में पैर पसार रहे हैं। एसपी, कलेक्टर कार्यालय जलाए गए, हत्याओं का नया रिकॉर्ड बन गया और मॉब लिंचिंग की घटनाएं भी शुरू हो गई हैं।

       नक्सली घटनाओं में भी वृद्धि हुई है और सरकार ने नक्सल नीति नहीं बनाई है। वनांचलों में मलेरिया और डायरिया जैसी सामान्य बीमारियों से लोग मर रहे हैं। बस्तर, सरगुजा, जशपुर और कवर्धा आदि क्षेत्रों में लगभग 11,000 लोग डायरिया और 22,000 से अधिक लोग मलेरिया से पीड़ित हैं। 2018 में कांग्रेस सरकार बनने से पहले मलेरिया संक्रमण दर 5.63 प्रतिशत थी, जो कांग्रेस सरकार के सुशासन में घटकर 0.99 प्रतिशत रह गई थी। मलेरिया संक्रमण में 10 गुना कमी आई थी।

       इन सभी मुद्दों पर विस्तार से चर्चा करते हुए कांग्रेस पार्टी ने राज्य की जनता के हित में संघर्ष जारी रखने का संकल्प लिया है।

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